आज आइना देखा तो एक तस्वीर नजर आई
एक अनजाना चेहरा जो कभी जाना पहचाना सा था
वो रास्ते जिन पर कभी चलने का सोचा ही नहीं
आज उन रास्तो से क्यूँ दोस्ताना सा था
जूठे चेहरों से भरी धुंधली सी जिंदगी
हर दर्द पर यूँ हंसती हुई जिंदगी
हर पल जब यूँ बोझिल सा हो उठा
याद आया की ये इंसान भी कभी मस्ताना सा था